Monday, June 30, 2025
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सुरक्षा सावधानियां: क्या वाकई मित्र है आपकी ‘मित्र पुलिस’? अब तय करेगा स्पेशल ऑपरेशन टास्क फोर्स!

ड्रग्स और भ्रष्टाचार पर ‘धामी स्टाइल’ वार अब पुलिस की भी होगी जांच, जनता सीधे दे सकेगी जानकारी!

मोहम्मद कैफ खान / विशेष संवाददाता

उत्तराखंड नैनीताल। के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के ‘जीरो टॉलरेंस’ मिशन को ज़मीनी धार देते हुए अब प्रदेश की मित्र पुलिस को असल मायनों में ‘मित्र’ बनाने की बड़ी शुरुआत हो चुकी है।
कुमाऊं की सख्त और साफ़ छवि वाली आईजी रिद्धिमा अग्रवाल के नेतृत्व में “स्पेशल ऑपरेशन टास्क फोर्स (SOTF)” का गठन किया गया है जो नशे, संगठित अपराध और पुलिस विभाग में छिपे भ्रष्टाचार पर गुप्त रूप से कार्रवाई करेगी।

आईजी रिद्धिमा अग्रवाल ने बताया कि इस टास्क फोर्स का काम जनता से सीधे जुड़कर उनकी गंभीर शिकायतों को लेना और पुलिस तंत्र में बैठे गंदे चेहरों को बेनकाब करना होगा। ड्रग्स से जुड़ी सूचना हो, किसी पुलिस वाले की साठगांठ का मामला हो या फिर किसी संगठित अपराध की बात अब आम नागरिक सीधे टोल फ्री नंबर पर SOTF को सूचना दे सकेंगे।
अब थाने में शिकायत दबाने की नहीं, कार्रवाई की होगी खबर!
इस टास्क फोर्स में हर जनपद से चुने गए वे जवान शामिल किए गए हैं जो या तो तकनीकी रूप से दक्ष हैं, या फिर पहले SOG जैसे अहम विंग में रह चुके हैं और जिनका जमीनी सूचना तंत्र मजबूत है।
आईजी ने साफ कहा है “जो थाना प्रभारी या पुलिसकर्मी SOTF को सहयोग नहीं करेगा या जिस पर भ्रष्टाचार की पुष्टि होगी, उसके खिलाफ ऑपरेशन के बाद सख्त कार्रवाई होगी।”

उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि SOTF केवल स्पेशल ऑपरेशन के लिए है, आम या आपातकालीन शिकायतों के लिए 112 पर ही संपर्क करें।

मुख्यमंत्री की मंशा साफ है अब मित्र पुलिस सिर्फ नाम की नहीं, काम की होगी!
‘ड्रग्स फ्री देवभूमि’ और ‘भ्रष्टाचार मुक्त उत्तराखंड’ का सपना अब एक नया रूप लेने जा रहा है जहां जनता की आवाज़ सीधे उस सिस्टम तक पहुंचेगी जो चुप नहीं रहेगा, कार्रवाई करेगा।

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