संयुक्त संघर्ष समिति ने उठाए प्रशासन पर सवाल
रिपोर्टर मोहम्मद कैफ खान
रामनगर। तराई पश्चिमी वन प्रभाग की आमपानी रेंज से आज सुबह एक दिल दहला देने वाली खबर सामने आई। पीरूमदारा क्षेत्र के सक्कनपुर गांव में जंगल से लकड़ी लेने गए एक युवक पर बाघ ने जानलेवा हमला कर दिया। युवक की मौके पर ही दर्दनाक मौत हो गई। मृतक की पहचान 35 वर्षीय विनोद कुमार पुत्र जबर सिंह, निवासी सक्कनपुर के रूप में हुई है। सुबह घर से निकले विनोद की लाश कुछ ही घंटों बाद झाड़ियों में क्षत-विक्षत हालत में मिली। इस घटना के बाद इलाके में सनसनी फैल गई है। ग्रामीणों में डर और गुस्से का माहौल है। लोगों ने वन विभाग पर लापरवाही का आरोप लगाते हुए सवाल खड़े किए हैं कि जब बाघों की गतिविधियां पहले से सामने आ रही थीं, तो सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम क्यों नहीं किए गए? संयुक्त संघर्ष समिति के संयोजक ललित उप्रेती ने घटना पर गहरा दुख जताते हुए प्रशासन और सरकार को कठघरे में खड़ा किया। उन्होंने कहा कि, “रामनगर और उसके आस-पास के क्षेत्रों में बाघों के हमले अब आम बात हो गई है। सरकार सिर्फ बाघों की संख्या बढ़ने पर जश्न मना रही है, लेकिन जिनके घर उजड़ रहे हैं, उनकी सुध लेने वाला कोई नहीं। बाघों के हमलों में घायल और मारे गए लोगों के इलाज तक में लापरवाही बरती जा रही है।” ग्रामीणों की मांग है कि बाघ को जल्द से जल्द पकड़ा जाए, पीड़ित परिवार को मुआवजा दिया जाए और क्षेत्र में गश्त बढ़ाकर लोगों की सुरक्षा सुनिश्चित की जाए। वरना वे उग्र आंदोलन को मजबूर होंगे।